जैसा नाम वैसा काम

अपने नाम को चरितार्थ करते हुए डॉ गोपाल शर्मा विभिन्न गौ–सेवा प्रकल्पों से सक्रियता पूर्वक जुड़े हुए हैं। मेवात में समुदाय विशेष द्वारा किए गए हजारों गायों के कत्लेआम की घटना के बाद कवरेज करने गए गोपाल शर्मा जब खून से सने हुए खेतों, वहां बिखरे सींग और हडि्डयों को देखकर लौटे तो गो-सेवा के प्रति उनका लगाव और गहरा हो गया। आज गौ रक्षा और गौ-सेवा उनकी प्राथमिकता में रहती है।

  • राष्ट्रीय एकता और सामाजिक समरसता को बढ़ावा देने के लिए अनेक आयोजन किए। पक्ष-विपक्ष भूलकर राजनीतिक दलों की सहभागिता और आम नागरिकों का सहयोग इन कार्यक्रमों की अनूठी विशेषता के रूप में जाना जाता है।
  • कारगिल शहीद समर्पण समारोह : ऐतिहासिक कारगिल युद्ध के ठीक बाद देश में पहली बार राजस्थान के सभी 71 शहीदों के परिवारों को एक मंच पर एकत्रित किया और जनता के सहयोग से प्रत्येक परिवार को 51 हजार रुपये की सम्मान निधि एफडीआर के जरिए भेंट की।
  • गुजरात भूकंप सेवा निधि : 2001 की भूकंप त्रासदी के बाद महानगर टाइम्स के तत्वावधान में गठित सेवा निधि ने जनता की मदद से गुजरात के सर्वाधिक प्रभावित क्षेत्रों में 18 ट्रक राहत सामग्री भेजी।
  • महात्मा गांधी सार्ध शती समारोह : महात्मा गांधी के 150वीं जयंती वर्ष में आयोजित समारोह में राजस्थान के स्वतंत्रता सेनानियों की गरिमामयी उपस्थिति ने देशभक्ति की भावना का संचार किया।
  • विप्र महाकुंभ : सामाजिक समरसता और राष्ट्रीय सामर्थ्य के प्रतीक के रूप में आयोजित यह सम्मेलन राजस्थान के सर्वाधिक प्रभावशाली सामाजिक आयोजनों में शामिल है।
  • जलियांवाला बाग बलिदान स्मृति शताब्दी समारोह : जलियांवाला बाग बलिदान की 100वीं वर्षगांठ के अवसर पर जयपुर में आयोजित सम्मान समारोह में जलियांवाला नरसंहार के शहीद परिवारों को एक मंच पर लाकर सम्मानित किया गया।